Knowledge News : अगर खाली चार्जर को सॉकेट में लगा रहने दें…. तो क्या बिजली की खपत होगी

Knowledge News : मोबाइल फोन आज हमारी जिंदगी का बहुत ही खास हिस्सा बन चुका है। इसके बिना तो मानो लाइफ की कल्पना करना भी काफी मुश्किल है। आज किसी भी काम को करने के लिए लगभग आपको फोन की जरुरत पड़ती ही पड़ती है। इसके साथ ही फोन जितना जरूरी है, उसका चार्जर भी उतना ही जरूरी है। जब भी कोई ज्यादा समय के लिए अपने घर से बाहर होता है, तो वो अपने फोन का चार्जर जरूर लेकर चलता है। जबकि बहुत से लोगों को फोन हमेशा चार्ज पर लगाने की आदत सी होती है। ऐसे में आपको उनका चार्जर ज्यादातर सॉकेट में ही लगा हुआ मिलेगा। बहुत से लोग ऐसे हैं, जो फोन को चार्जिंग पर से हटा तो लेते हैं, लेकिन उसका चार्जर बोर्ड में लगा हुआ प्लग इन छोड़ देते हैं। क्या ऐसा करना सही है। क्या ऐसा करने पर चार्जर बिजली खाता है, चलिए जानते हैं इसके बारे में।
क्या सॉकेट में लगे चार्जर से खर्च होती है बिजली
बहुत ही कम लोग ऐसे होंगे, जो चार्जर का इस्तेमाल न होने पर उसे सॉकेट से निकाल देते होंगे। वरना, ज्यादातर लोग तो उसे सॉकेट में ही लगा हुआ छोड़ देते हैं। एनर्जी सेविंग ट्रस्ट के मुताबिक, प्लग-इन किया गया कोई भी स्विच ऑन चार्जर बिजली का इस्तेमाल करता है। इसके बाद भले ही आपका डिवाइस उससे कनेक्टेड हो या न नहीं हो। गौरतलब है कि इससे न सिर्फ बिजली की मात्रा में केवल कुछ यूनिट खर्च होते हैं, बल्कि यह चार्जर की लाइफ को भी कम कर देता है।
बैटरी को खराब होने से बचाएं
बता दें कि फोन को हर थोड़ी-थोड़ी देर में चार्ज करने से उसकी बैटरी लाइफ पर भी असर पड़ता है। यही वजह है कि एक्सपर्ट फोन बैटरी के लिए 40 और 80 रूल फॉलो करने की सलाह देते हैं। दरअसल ऑप्टिमाइज बैटरी लाइफ के लिए आपको फोन की बैटरी कभी भी 40 प्रतिशत से कम और 80 प्रतिशत से ज्यादा नहीं होनी देनी चाहिए। इसके अलावा बहुत से लोग कई बार फोन को अलग या फिर किसी दूसरे के चार्जर से भी चार्ज करते हैं। परन्तु ऐसा करना किसी भी बैटरी के लिए अच्छा नहीं होता। इस मामले में एक्सपर्ट्स भी फोन को हमेशा ओरिजिनल चार्जर से चार्ज करने की सलाह देते हैं।
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