March 28, 2023

Knowledge News : Budget में हुआ खास ऐलान… लैब में बनेंगे हीरे, जानिए कैसे होते हैं तैयार

wp-header-logo-18.png

हीरे (diamonds) की चमक-धमक तो पूरी दुनिया जानती है। इसके साथ ही बहुत से लोग ये भी जानते हैं कि हीरा एक खनिज है। इस कार्बनिक पदार्थ को जमीन के अंदर से खनन करके पाया जाता है। परन्तु क्या आप यह जानते हैं कि हीरे लैब में भी बनाए जाते हैं। जी हां, अब इन पर काम भी शुरू हो चुका है। बहुत से ऐसे देश हैं जो इसमें आगे निकल चुके हैं। वहीं हमारा देश भारत आज भी हीरे का आयात करता है। यही वजह है कि डायमंड खरीद पाना हर किसी के बस की बात नहीं है। ऐसे में अब वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (nirmala sitharaman) ने इस उद्योग को बड़ी राहत दे दी है।
निर्मला सीतामरण ने ऐलान किया है कि भारत में लैब ग्रोन डायमंड (प्रयोगशाला में निर्मित हीरे) के लिए रिसर्च एंड डेवलपमेंट का काम शुरू होगा। देश अपना लैब ग्रोन डायमंड बनाएगा और लैब में बने हुए हीरों पर रिसर्च के लिए IIT को जिम्मेदारी दी जाएगी। साथ ही यह कोशिश की जाएगी कि हीरे बनाने वाली अन्य मैन्युफैक्चरिंग लैब की स्थापना भी हो, ताकि आयात पर निर्भरता कम हो और नौकरी के अवसर बढ़ सकें।
क्या है लैब ग्रोन डायमंड
ये हीरे यानी डायमंड लैब में बनते हैं। लैब में हीरों को कटिंग एज तकनीक से बनाया जाता है। वहां पर ये कुछ ही सप्ताह में तैयार हो जाते हैं, लेकिन जिन हीरों का खनन होता है वह कई वर्षों में नेचुरल तरीके से जमीन के अंदर बनते हैं। लैब वाले ये डायमंड नेचुरल डायमंड की तुलना में ईको फ्रेंडली होते हैं। यही वजह है कि इनकी मांग ज्यादा होती है। अगर हम नेचुरल डायमंड की बात करें तो उन्हें खदान से निकालने में काफी मेहनत, समय की बर्बादी और पानी लगता है। ऐसे में लैब में बने हीरे गेमचेंजर साबित हो सकते हैं।
प्राकृतिक हीरा कैसा होता है
प्राकृतिक हीरे को बेहद बेशकीमती माना जाता है, यह एक खनिज है जो कार्बनिक पदार्थ के तौर पर पहचाना जाता है। यह जमीन के अंदर अपने आप तैयार हो जाता है, इसके तैयार होने की प्रक्रिया भयानक दबाव और तापमान से होती है। ऐसी स्थिति में कार्बन के कण मिलते हैं और प्राकृतिक हीरा तैयार हो जाता है। इसकी खास बातयह है कि अगर हीरे को जलाया जाए तो यह कार्बन में बदल जाता है और इसकी राख भी नहीं बचती।
कितना बड़ा इसका बाजार
एलाइड मार्केट रिसर्च की एक रिपोर्ट के अनुसार यह अनुमान लगाया गया है कि साल 2021 से 2030 तक लैब ग्रोन डायमंड का बाजार हर साल करीब 9 प्रतिशत की रफ्तार से बढ़ेगा। लैब में विकसित हीरे के बाजार साल 2030 तक $49.9 बिलियन डॉलर यानी (4 लाख करोड़ रुपये) तक पहुंचने का अनुमान है।
© Copyrights 2023. All rights reserved.
Powered By Hocalwire

source