स्ट्रेस के कारण बढ़ रहा क्रोनिक किडनी डिजीज का खतरा, जानिए सेहत पर कैसा होगा प्रभाव और इसके बचाव

How To Take Care Of Your Kidney: कोरोना महामारी (Coronavirus) के आतंक के बाद अब जिंदगी पटरी पर लौट चुकी थी और लॉकडाउन (Lockdown) खुलने के साथ ही सभी लोग अपने कामों पर वापस लौटने लगे थे। लेकिन, एकदम से ही बढ़ती महंगाई ने लोगों की जिंदगियों में उथल-पुथल मचा दी। मंदी की आहट होने के साथ ही कंपनियों ने खुदको घाटे में जाने से बचाने के लिए अपने ऑफिस में वर्कफोर्स (Layoff) को कम करना शुरू कर दिया। इसका नतीजा ये हुआ कि अमेरिका से लेकर भारत तक आईटी-टेक से लेकर कई सेक्टर्स की कंपनियां अपने कर्मचारियों की छंटनी करने में जुट गईं।
रूस-यूक्रेन युद्ध (Russia-Ukraine) के बाद उभरे ग्लोबल आर्थिक संकट और आर्थिक विकास की धीमी रफ्तार के चलते कंपनियां एम्पलॉयज की संख्या कम कर खर्च घटाने लगी। इससे लोगों में स्ट्रेस बढ़ गया, हर कोई जीवन में कभी न कभी किसी न किसी रूप में तनाव और चिंता महसूस करता है। यह बहुत आम बात है, लेकिन अगर ये तनाव बहुत ज्यादा बढ़ जाए, तो बिगड़ते शारीरिक (Physical Health) और मानसिक स्वास्थ्य (Mental Health) का कारण बनता है। इससे आपके शरीर महत्वपूर्ण अंगों में गिरावट आती है, ब्लड प्रेशर बढ़ता है और किडनी (Kidney) खराब होने लगती है।
इस स्थिति में स्ट्रेस होता है अच्छा संकेत (In this situation stress is a good sign)
जब भी आप शारीरिक और मानसिक रूप से तनाव (Stress) महसूस करते हैं, तो शरीर का संतुलन बिगड़ जाता है, जिससे पुरानी बीमारियां (Chronic Diseases) एक बार फिर उखड़ जाती हैं। स्वास्थ्य विशेषज्ञों के मुताबिक, तनाव को शरीर द्वारा बीमारियों से की जा रही लड़ाई के परिणाम के रूप में देखा जाता है। ये इंसान को तत्काल खतरों से बचाने की एक नेचुरल प्रोसेस होती है। हालांकि, अगर आपका तनाव लगातार बना हुआ है और आपको कोई आराम नहीं मिल रहा है तो यह स्थिति आपके स्वास्थ्य पर भारी पड़ सकती है। विशेषज्ञों के मुताबिक लेऑफ के इस दौर में लोगों का स्ट्रेस बहुत ज्यादा बढ़ गया है, जिस कारण क्रोनिक किडनी रोग (chronic kidney disease), नेफ्रोटिक सिंड्रोम (nephrotic syndrome), एंड-स्टेज रीनल डिजीज (end-stage renal disease) आदि जैसी किडनी की बीमारियों के मामले बढ़ रहे हैं।
जानिए स्ट्रेस किडनी को कैसे करता है प्रभावित? (Know how stress affects the kidney)
– विशेषज्ञों के मुताबिक स्ट्रेस के कारण किडनी में ब्लड सर्कुलेशन और ब्लड वेसल्स संबंधी कई समस्याएं होने लगती हैं। इस कारण हाई ब्लड प्रेशर और हाई ब्लड शुगर आपकी किडनी पर एक्स्ट्रा बोझ डाल सकते हैं।
– हाई ब्लड प्रेशर और डायबिटीज से ग्रस्त लोगों को किडनी की बीमारी होने का ज्यादा खतरा होता है। किडनी की बीमारी से ग्रस्त लोगों को हृदय और ब्लड वेसल संबंधी बीमारी होने का ज्यादा खतरा होता है।
– ऐसे में तनाव और चिंता से बचने के लिए कई लोग शराब का सेवन करने लगते हैं, जो किडनी के लिए और भी खतरनाक साबित हो रहा है। किडनी का कार्य खून को को छानना है और शराब इसके काम को मुश्किल बना देती है।
जानिए कैसे रख सकते हैं किडनी का ख्याल (Know how to take care of kidney)
विशेषज्ञों के मुताबिक तनाव से छुटकारा पाना मुश्किल हो सकता है लेकिन पूरी तरह से असंभव नहीं है। आप इससे बचने के लिए कुछ कदम उठा सकते हैं।
बीमारियों से बचाने के लिए सबसे अहम इंसान की डाइट होती है, इसलिए आपको ऐसे खाद्य पदार्थ चुनें हैं। जो आपके दिल और किडनी के लिए स्वस्थ हों, आप अपनी डाइट में नमक और एक्स्ट्रा शुगर में कटौती कर सकते हैं। साथ ही ताजे फल और सब्जियां अपनी डेली डाइट में शामिल करें।
रोजाना कम से कम 30-45 मिनट तक आपको एक्सरसाइज जरूर करनी चाहिए। इससे न केवल आप फिट रहते हैं बल्कि आपका वजन भी कम रहता है। साथ ही रक्त शर्करा के स्तर (Blood Sugar Level) को भी नियंत्रित रखता है।
स्वस्थ वजन हासिल करने और उस पर बने रहने के लिए आपको अपनी कैलोरी और शारीरिक गतिविधि की योजनाओं को तैयार करना होगा। मोटापा और अधिक वजन आपके बढ़ते तनाव और अन्य बीमारियों के संकट को बढ़ा सकता है।
हर रात 7-8 घंटे की नींद लेना बहुत जरूरी है। अगर आपको सोने में परेशानी हो रही है, तो अपनी झपकी लेने की आदतों को सुधारने के लिए ध्यान, व्यायाम जैसी टिप्स को फॉलो करना चाहिए।
जब कोई व्यक्ति तनाव और चिंता में होता है तो धूम्रपान आदि करने लगता है। हालांकि, स्वस्थ, रोग-मुक्त जीवन जीने के लिए तम्बाकू छोड़ना और धूम्रपान-मुक्त होना बहुत जरूरी है।
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